Tuesday, May 5, 2020

डेली करेंट अफेयर्स : 04 मई 2020


               डेली करेंट अफेयर्स डाइजेस्ट: 04 मई 2020




प्रतिदिन के करेंट अफेयर्स से सम्बंधित जानकारी को संक्षिप्त रूप में प्रस्तुत किया गया है. इसमें आज कोरोना वायरस और राष्ट्रमंडल खेल महासंघ से संबंधित जानकारी संक्षिप्त रूप में प्रस्तुत किया गया है.


कोविड-19 की चपेट में आए कॉमनवेल्थ गेम्स, दो साल के लिए टाले गए यूथ गेम्स:-   राष्ट्रमंडल खेल महासंघ ने कोविड-19 महामारी की वजह से एक साल के लिए टले टोक्यो ओलिंपिक की तारीखों से टकराव के बाद 2021 में प्रस्तावित राष्ट्रमंडल युवा खेलों को साल 2023 तक स्थगित कर दिया. टोक्यो ओलिंपिक का आयोजन इस साल 23 जुलाई से आठ अगस्त तक होना था लेकिन पिछले महीने इसे एक साल के लिए स्थगित कर दिया गया.


राष्ट्रमंडल खेल महासंघ से जारी बयान में कहा गया कि राष्ट्रमंडल खेल महासंघ कार्यकारी बोर्ड ने साल 2021 राष्ट्रमंडल युवा खेलों किसी अन्य तिथि पर कराने के  विकल्पों पर विचार करने का निर्णय लिया है. बयान में कहा गया कि सकारात्मक चर्चा के बाद सीजीएफ भविष्य में इसके आयोजन के लिए सर्वोत्तम विकल्पों और समय-सीमा पर विचार करने के लिए तैयार हो गया है. संभवत: इसका आयोजन 2023 में होगा.’ राष्ट्रमंडल युवा खेलों के सातवें सत्र का आयोजन एक से सात अगस्त तक त्रिनिदाद और टोबैगो में होना था.

जानिए 3 मई को विश्व प्रेस स्वतंत्रता दिवस मनाने का कारण:-  हर साल 3 मई को हर वर्ष 'वर्ल्ड प्रेस फ्रीडम डे' के तौर पर मनाया जाता है. यूनेस्को की आम सम्मेलन की सिफारिश के बाद दिसंबर1993 में संयुक्त राष्ट्र महासभा द्वारा विश्व प्रेस स्वतंत्रता दिवस घोषित किया गया था. विश्व प्रेस स्वतंत्रता दिवस को मानाने का मुख्य उद्देश्य प्रेस स्वतंत्रता के मूल सिद्धांतों का जश्न मनाने के साथ दुनिया भर में प्रेस की स्वतंत्रता की स्थिति का आंकलन करना है

इस साल की थीम Journalism Without Fear or Favour (बिना डर या पक्षपात के पत्रकारिता) है. इस थीम का मुख्य उद्देश्य चुनावों में मीडिया के सामने वर्तमान चुनौतियों के साथ-साथ शांति और सुलह प्रक्रियाओं के समर्थन करना है. यूनेस्को द्वारा वर्ष 1997 से हर साल 3 मई को विश्व प्रेस स्वतंत्रता दिवस पर गिलेरमो कानो वर्ल्ड प्रेस फ्रीडम प्राइज भी दिया जाता है. यह पुरस्कार उस व्यक्ति अथवा संस्थान को दिया जाता है जिसने प्रेस की स्वतंत्रता के लिए उल्लेखनीय कार्य किया हो.

हिमाचल कैबिनेट का बड़ा फैसला, शहरी जनता को 120 दिन का रोजगार:-

हिमाचल कैबिनेट की बैठक 02 मई 2020 को मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर की अध्यक्षता में आयोजित की गई. बैठक में लॉकडाउन के के बाद राज्य सरकार की तरफ से शुरू किए जाने वाले आर्थिक सुधारों के बारे में एक प्रस्तुति दी गई. बैठक में निर्णय लिया गया कि कोरोना महामारी (कोविड-19) के दृष्टिगत राज्य में अर्थव्यवस्था को पुनः सृदृढ़ करने हेतु शहरी जनता को मुख्यमंत्री शहरी रोजगार गारंटी योजना के तहत 120 दिन का रोजगार मुहैया कराया जाएगा. इसके लिए यदि आवश्यक हो तो उनके कौशल उन्नयन के लिए पर्याप्त प्रशिक्षण प्रदान किया जाएगा.

इस महामारी के दौरान प्रदेश में बाहरी राज्यों से हजारों लोग वापस आए हैं. इनकी विभिन्न क्षेत्रों में कुशलता हैं, उन्हें उनकी कार्यकुशलता अनुसार रोजगार और स्वरोजगार मुहैया कराने हेतु प्रशिक्षण दिया जाएगा. राज्य सरकार ने भवन और अन्य सन्निर्माण कामगार बोर्ड के तहत पंजीकृत लगभग एक लाख श्रमिकों को दो हजार रुपये प्रदान किए है. अब सरकार ने इन श्रमिकों को और 2000 रुपये प्रति कामगार प्रदान करने का निर्णय लिया है.

छत्तीसगढ़ के पूर्व मुख्य न्यायाधीश अजय कुमार त्रिपाठी का निधन:-

छत्तीसगढ़ उच्चन्यायालय के पूर्व मुख्य न्यायाधीश और लोकपाल के न्यायिक सदस्य जस्टिस अजय कुमार त्रिपाठी का हाल ही में निधन हो गया है. वे कोरोना से पीडित थे और पिछले 5 अप्रैल से भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान एम्स दिल्ली के के ट्रॉमा सेंटर में उनका उपचार चल रहा था. वे मूल रूप से बिहार के रहने वाले थे.

लोकपाल सदस्य बनने से पहले वे छत्तीसगढ़ हाई कोर्ट के मुख्य न्यायाधीश थे. जस्टिस त्रिपाठी देश के पहले ऐसे न्यायाधीश हैं, जिनका निधन कोरोना वायरस (कोविड-19) की वजह से हुआ है. जस्टिस अजय कुमार त्रिपाठी ने जुलाई 2018 में छत्तीसगढ उच्चन्यायालय में मुख्य न्यायाधीश के रूप में कार्यभार संभाला था. वे मार्च 2019 को लोकपाल के चौथे सदस्य के रूप में चुने गए थे.



प्रधानमंत्री मोदी ने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से 'गुट-निरपेक्ष आंदोलन' समिट में भाग लिया:-

पूरी दुनिया कोरोना वायरस महामारी (Corona Virus) से प्रभावित है. इसके खतरे की गंभीरता को देखते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से 04 मई 2020 को गुट निरपेक्ष (NAM) देशों के वर्चुअल सम्मेलन में भाग लिया. गुट निरपेक्ष देशों का ये सम्मेलन अजरबैजान के राष्ट्रपति इल्हाम अलियेव की कोशिशों के बाद आयोजित किया गया है. संयुक्त राष्ट्र के बाद गुट निरपेक्ष सबसे बड़ा समूह है जिसमें एशिया, अफ्रीका और लैटिन अमेरिका के 120 देश शामिल हैं.




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